लखनऊ के आरएसएम और हरपुर के सरकारी संयुक्त अस्पताल में खुलेंगी
ये इकाइयां और बस्ती, बांदा, आजमगढ़, बदायूं और अयोध्या के मेडिकल कॉलेज में खुलेंगी।
इन एनआईसीयू की स्थापना के लिए भवनों की मरम्मत के लिए चार लाख
रुपये का बजट आवंटित किया गया है। साथ ही इकाई की स्थापना के लिए 12-12 लाख रुपये की
राशि उपलब्ध करायी गयी है. इसके अलावा लखनऊ और हापुड़ के लिए उपकरणों की खरीद के लिए
25 लाख रुपये का बजट आवंटित किया गया है।
उपमुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि जिन नौ जिलों बरेली, कानपुर देहात,
बुलंदशहर, जालौन, सीतापुर, कानुपर, इटावा, लखनऊ में पहले से NICUS है, उनका आधुनिकीकरण
किया जाएगा। केजीएमयू की एनआईसीयूएस यूनिट फोटोथेरेपी, वार्मर और अन्य उपकरणों से लैस
होगी। केजीएमयू लखनऊ के क्वीन मैरी अस्पताल में आठ बेड सहित नौ जिलों के एनआईसीयू में
कुल 66 बेड जोड़े जाएंगे।
बृजेश पाठक ने कहा कि शिशुओं
को बेहतर इलाज मुहैया कराने के लिए लगातार कदम उठाए जा रहे हैं। स्टाफ नर्सों को प्रशिक्षण
दिया जा रहा है। तकनीकी कर्मचारियों को भी प्रशिक्षित किया जाएगा। मरीजों को नि:शुल्क
चिकित्सक परामर्श दिया जा रहा है। दवाइयां और जांच की सुविधा भी नि:शुल्क उपलब्ध कराई
जा रही है।
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