एक तरफ जहाँ देश भर में त्योहारों का मौसम शुरू हो चूका हैं वहीं अब कोरोना के वेरिएंट ओमिक्रॉन अपने कम से कम पांच नए सब-वेरिएंट के साथ सर उठाने लगा है। भले ही कुछ दिनों से भारत में कोरोना मामलों में कमी देखि जा रही है, लेकिन ओमिक्रॉन के सब-वेरिएंट चिंता का सबब बनते जा रहे हैं।
अब तक गुजरात, महाराष्ट्र और कर्नाटक से ओमिक्रॉन सब-वेरिएंट-BF.7, BQ.1, XBB और कुछ कॉम्बिनेशन रिपोर्ट किए गए हैं। केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के एक सूत्र ने मीडिया को जानकारी देते हुए बताया कि चीन में, जहां महामारी शुरू हुई, वहां नए उप-प्रकारों ने हाल ही में कोविड में वृद्धि की है।
स्वास्थ्य मंत्रालय के शीर्ष सूत्रों ने कहा, अभी तक इन सब-वेरिएंट्स के कारण गंभीर बीमारी की सूचना नहीं मिली है, लेकिन कई बार वायरस के व्यवहार का पता नहीं चलता है, इसलिए सावधान रहना जरूरी है। मंत्रालय अस्पताल में भर्ती होने की दर, आईसीयू देखभाल की जरूरत और मौतों की निगरानी कर रहा है। इन आंकड़ों पर नजर रखने वाले विभिन्न विभागों के साथ कल एक बैठक हुई थी।
चीन भर में मामले BF.7 द्वारा ट्रिगर किए गए हैं। विश्व स्वास्थ्य संगठन ने अत्यधिक संक्रामक उप-संस्करण के खिलाफ चेतावनी दी थी। यह इस उप-संस्करण को वायरस का एक नया प्रमुख तनाव बनने की भविष्यवाणी करता है।
ओमिक्रॉन के नए सब-वेरिएंट (omicron subvariant) BA.5.1.7 और BF.7, अत्यधिक संक्रामक माने जा रहे हैं और चीन में मंगोलिया के एक क्षेत्र से उभरने के बाद अधिक संप्रेषणीयता अब दुनिया के अन्य हिस्सों में अपना रास्ता बना रहे हैं और एक नई लहर चला रहे हैं कोविड संक्रमण। हाल की रिपोर्टों के अनुसार, भारत में BF.7 का पहला मामला पाया गया है जैसा कि गुजरात बायोटेक्नोलॉजी रिसर्च सेंटर (Gujarat Biotechnology Research Center) द्वारा पता लगाया गया है।
इन नए उप-प्रकारों के उद्भव के साथ, जो पिछले संक्रमणों और टीकों से प्रतिरक्षा को पार करने में सक्षम हैं, दिवाली, धनतेरस, गोवर्धन पूजा और भाई दूज के आगामी उत्सवों से पहले सावधानी बरतना महत्वपूर्ण है। लॉकडाउन और प्रतिबंधों में ढील के साथ, भारत में लोग उत्साहपूर्वक देश के सबसे बड़े त्योहारों में से एक दिवाली को कम महत्वपूर्ण रखने के लगभग दो साल बाद मनाने के लिए उत्सुक हैं।
हालांकि, विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि किसी को अभी तक मास्क को नहीं छोड़ना चाहिए और लक्षणों की पहली नजर में खुद को अलग करने की जिम्मेदारी लेनी चाहिए, इससे बच्चों, बुजुर्गों, कैंसर से बचे, कैंसर रोगियों, प्रत्यारोपण रोगियों जैसे कमजोर समूह की रक्षा हो सकती है। यहां आप सभी नए वेरिएंट BA.5.1.7 और BF.7 के बारे में जानना चाहते हैं, जिन्हें ओमाइक्रोन स्पॉन भी कहा जा रहा है।
BA.5.1.7 और BF.76 के लक्षण
विशेषज्ञों का कहना है कि इन वेरिएंट के लक्षण कमोबेश एक जैसे होंगे लेकिन समय के साथ और भी सामने आएंगे।
राष्ट्रीय तकनीकी सलाहकार ग्रुप वैक्सीनेशन (National Technical Advisory Group Vaccination – NTAGI) के चेयरमैन डॉ एन.के.अरोड़ा के मुताबिक, इस वैरिएंट के लक्षण भी अन्य कोविड-19 वैरिएंट की तरह ही नजर आएंगे लेकिन अगर इस नए वैरिएंट की बात करें तो बदन दर्द इसका मुख्य लक्षण है। अगर किसी को लंबे समय से शरीर में दर्द हो रहा है तो उसे कोविड टेस्ट कराने की जरूरत होगी। इसके अलावा, गले में खराश, थकान, कफ और बहती नाक भी इस सब वैरिएंट के लक्षण हो सकते हैं।
रोटरी क्लब ऑफ मद्रास नेक्स्टजेन में कोरोनाविरोलॉजिस्ट और कोविड अवेयरनेस एक्सपर्ट डॉ. पवित्रा वेंकटगोपालन (Dr Pavitra Venkatagopalan, Coronavirologist and COVID Awareness Expert at Rotary Club of Madras NextGen) के मुताबिक, "अभी इतना डेटा उपलब्ध नहीं है कि इस सब-वैरिएंट के लक्षणों के बारे में बताया जा सके। अधिकांश लोगों की टेस्टिंग जीनोम सीक्वेंसिंग के माध्यम से टेस्टिंग नहीं हुई है इसलिए अभी कुछ भी नहीं कहा जा सकता। लेकिन हम इसके लक्षणों पर नजर रखे हुए हैं।"
ओमिक्रॉन के नए सब-वेरिएंट से ऐसे करें बचाव
फिलहाल देश भर में त्यौहारों का मौसम चल रहा है जिसमें हर जगह काफी भीड़भाड़ होना लाजमी है। ऐसे में जब भी आप ऐसे इलाके में जाएं जहाँ सामाजिक दूरी रख पाना संभव न हो तो वहां मास्क पहने जो कि कोरोना से बचने का सबसे जरूरी और आसान तरीका है।
अगर आप बीमार महसूस कर रहे हैं तो जल्द से जल्द डॉक्टर से मिलें और खुद से दवाएं लेने से बचें। कोरोना के लक्षणों को महसूस होने अपर जल्द से जल्द जांच करवाएं।
देश में कोरोना का ताजा हाल
बुधवार को अपडेट किए गए सरकारी आंकड़ों के अनुसार भारत में पिछले 24 घंटे में कोरोना वायरस संक्रमण के 1,946 नए मामले सामने आने के बाद देश में संक्रमितों की संख्या बढ़कर 4,46,34,376 हो गई, जबकि उपचाराधीन मरीजों की संख्या घटकर 25,968 रह गई है। देश में संक्रमण से 10 और लोगों की मौत के बाद मृतक संख्या बढ़कर 5,28,923 पर पहुंच गई है। इन 10 मामलों में वे छह लोग भी शामिल हैं, जिनके नाम संक्रमण से मौत के आंकड़ों का पुन:मिलान करते हुए केरल ने वैश्विक महामारी से जान गंवाने वाले मरीजों की सूची में जोड़े हैं। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि दैनिक सकारात्मकता दर 0.75 प्रतिशत दर्ज की गई, जबकि साप्ताहिक सकारात्मकता दर 1.01 प्रतिशत थी।
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